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Awas Yojana: श्रमिकों को पक्के घर बनाने के लिए 50 हजार की सब्सिडी

Awas Yojana: श्रमिकों को पक्के घर बनाने के लिए  50 हजार की सब्सिडी
पोस्ट -24 अक्टूबर 2024 शेयर पोस्ट

श्रमिक ग्रामीण आवास स्कीम 2024 : श्रमिकों को मिलेगा 50 हजार रुपए की सब्सिडी, ऐसे उठाएं लाभ

श्रमिकों के कल्याण के लिए सरकार द्वारा नए-नए कदम उठाए गए हैं। इसके तहत सरकार द्वारा कई योजनाएं चलाई जा रही है, तो कई योजनाएं शुरू की जा रही है। इस कड़ी में मध्यप्रदेश सरकार द्वारा श्रमिकों को आवास बनाने के लिए सहायता प्रदान की जा रही है। मध्यप्रदेश भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार कल्याण मंडल द्वारा प्रदेश में चलाई जा रही है, “मुख्यमंत्री भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार आवास (ग्रामीण) योजना” में श्रमिकों को पचास हजार रुपए (50,000/-) की सब्सिडी सरकार द्वारा दी जाएगी। श्रमिक ग्रामीण आवास योजना 2024” के तहत श्रमिकों को प्रधानमंत्री आवास (ग्रामीण) योजना (PMAY-G) के अंतर्गत आवास आवंटित होने पर यह अनुदान राशि मिलेगी। इसके अलावा, “औजार/उपकरण खरीदी योजना 2024” के तहत श्रमिकों को औजार खरीदने के लिए 10 हजार रुपए तक का अनुदान दिया जाएगा। 

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अगर आप भी मध्य प्रदेश राज्य के निवासी हैं और पंजीकृत निर्माण श्रमिक है, तो सरकार की इस योजना में लाभ उठा सकते हैं। इसके साथी राज्य सरकार प्रदेश में श्रमिकों के लिए कई योजनाएं शुरू भी करने जा रही है, जिसके अंतर्गत श्रमिक एवं उनके परिवार के सदस्यों को लाभान्वित किया जाएगा। 

मुख्यमंत्री भवन एवं अन्य संनिर्माण श्रमिक आवास (ग्रामीण) योजना (Chief Minister Building and Other Construction Workers Housing (Rural) Scheme)

मध्यप्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में पंजीकृत निर्माण श्रमिक जो आवासहीन या कच्चे/अर्धपक्के घरों में निवास करते हैं। ऐसे सभी परिवारों को बुनियादी सुविधाओं युक्त पक्के आवास उपलब्ध कराने के लिए, मुख्यमंत्री भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार आवास (ग्रामीण) योजना संचालित की जा रही है। मध्यप्रदेश भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार कल्याण मंडल द्वारा इस श्रमिक ग्रामीण आवास योजना को वर्ष 2013 में संपूर्ण प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों (शहरी एवं नजूल बाह्य क्षेत्र को छोड़कर) में लागू किया। राज्य सरकार की ओर से “श्रमिक ग्रामीण आवास योजना 2024” के तहत चयनित हितग्राही को न्यूनतम 50,000 रूपए के बैंक ऋण अनुदान की प्रतिपूर्ति की जाएगी।  

श्रमिक आवास योजना 2024 में देय अनुदान राशि (Grant amount payable under Labor Housing Scheme 2024)

श्रमिक आवास योजना 2024 (Shramik Gramin Awas Yojana) के तहत श्रमिकों को मकान बनाने के लिए यह सब्सिडी “प्रधानमंत्री आवास योजना” के तहत आवास स्वीकृत होने के पश्चात ही प्रदान की जाएगी। मंडल द्वारा देय अनुदान की राशि प्रत्येक प्रकरण में 50,000 रुपए तक सीमित होगी। मंडल के अनुदान की राशि मंडल द्वारा जिला श्रम कार्यालयों को प्रदान की जाएगी, जिसे जिला श्रम कार्यालय द्वारा लक्ष्य के अनुपात में जनपदों को उपलब्ध कराया जाएगा। जनपद द्वारा स्वीकृत ऋण प्रकरणों के आधार पर बैंकों को मांग के अनुसार धनराशि उपलब्ध कराई जाएगी। 

पुनः भुगतान क्षमता के आधार पर अतिरिक्त ऋण स्वीकृत (Additional loan approved based on repayment capacity)

श्रमिक आवास (ग्रामीण) योजना 2024 के तहत अगर बैंक द्वारा चयनित हितग्राही को न्यूनतम 50 हजार रुपए का ऋण स्वीकृत किया जाएगा, लेकिन हितग्राही की मांग पर, अगर बैंक चाहेगा तो हितग्राही की पुनर्भुगतान क्षमता का निर्धारण कर, पुनः भुगतान क्षमता के आधार पर, उक्त पचास हजार रुपए के ऋण के अतिरिक्त, अधिकतम 30,000 मात्र (तीस हजार रुपए मात्र) का अतिरिक्त ऋण, उसे स्वीकृत कर सकेगा। हालांकि इस अतिरिक्त ऋण स्वीकृति में राज्य सरकार की कोई भूमिका नहीं होगी और इस पर अनुदान लाभ भी देय नहीं होगा। वहीं, पीएमएवाई-जी (PMAY-G) के तहत चयनित लाभार्थी को मैदानी क्षेत्र में घर बनवाने के लिए 1 लाख 20 हजार रुपए और पहाड़ी इलाकों / दुर्गम इलाकों के लिए 1 लाख 30 हजार रुपए की सहायता राशि दी जाती है। लाभार्थी को यह अनुदान राशि तीन किस्तों में दी जाती है। पीएम आवास योजना-ग्रामीण (PM Housing Scheme- Rural) के तहत  40 हजार रुपए की राशि की पहली किस्त, 60 हजार रुपए दूसरी और तीसरी व अंतिम किस्त में 20 हजार रुपए की राशि सीधे हितग्राही के बैंक खाते में हस्तांतरित की जाती है।  

श्रमिक ग्रामीण आवास योजना 2024 के अंतर्गत पात्रता (Eligibility under Labor Rural Housing Scheme 2024)

  • जो श्रमिक इंदिरा आवास योजना अथवा मुख्यमंत्री अन्त्योदय आवास योजना के अन्तर्गत आवास निर्माण हेतु अनुदान प्राप्त करने की पात्रता धारित नहीं करते हों।
  • जिनके परिवार के पास अधिकतम तीन हेक्टेयर कृषि भूमि हो अथवा जिन श्रमिक परिवार की सभी स्त्रोतों से अधिकतम आय 3 लाख रुपए वार्षिक तक होगी वे सभी श्रमिक ग्रामीण आवास योजना 2024 में लाभ के पात्र होंगे। 
  • जिनके पास उक्त कंडिका 6 में वर्णित अनुसार, आवास निर्माण के लिये पर्याप्त भूमि उपलब्ध है।
  • जो शासन से आवास हेतु भूमि प्राप्त करने की पात्रता रखते हैं।
  • जो अपने स्वामित्व की कृषि भूमि में स्थित भू-खंड पर आवास निर्माण के इच्छुक हों।
  • जो ग्राम की आबादी में भू-खण्डधारक प्रमाण-पत्र प्राप्त करने की पात्रता रखते हैं।
  • जो निर्धारित अभिन्यास में 225 वर्गफुट प्लिंथ एरिया का आवास निर्माण हेतु बैंक से ऋण प्राप्त करने तथा स्वयं का अंशदान श्रम/सामग्री/सम्मिलित रूप में प्रदान करने के लिए सहमत हों।

श्रम विभाग की उपलब्धियां और योजनाओं (Achievements and schemes of Labor Department)

मध्यप्रदेश के श्रम, पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल ने श्रम विभाग की उपलब्धियों और योजनाओं की जानकारी साझा की है। उनके अनुसार, प्रदेश में श्रमिकों के लिए 5 आदर्श श्रम केंद्र विकसित किए जा रहे हैं, जो उज्जैन, पीथमपुर, भोपाल, जबलपुर और सतना में स्थापित होंगे। श्रमोदय आईटीआई के अंतर्गत खासकर सिविल इंजीनियरिंग असिस्टेंट, तकनीशियन मैकाट्रोनिक्स, और एडवांस सीएनसी मशीनिंग ट्रेड्स प्रदेश में सिर्फ इन्हीं आईटीआई में संचालित किए जा रहे हैं। “अंतिम संस्कार सहायता योजना” और “अनुग्रह सहायता योजना” का दायरा बढ़ाया गया है। अब इन योजनाओं का लाभ केवल श्रमिकों तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि उनके परिवार के सदस्य पत्नी, पुत्र-पुत्री और माता-पिता भी इसके दायरे में आएंगे। 

दिव्यांग श्रमिकों के लिए 50 इलेक्ट्रिक वाहन (50 electric vehicles for disabled workers)

ग्रामीण विकास मंत्री ने बताया कि दिव्यांग श्रमिकों के लिए इस साल 50 इलेक्ट्रिक वाहन वितरित किए जाएंगे। श्रमिकों के बच्चों के लिए “स्कूल छात्रवृत्ति योजना 2024” शुरू की गई है, जिसके अंतर्गत कक्षा 1 से 12 तक के छात्रों को 2300 रुपये प्रतिवर्ष तक की छात्रवृत्ति मिलेगी। साथ ही “इलेक्ट्रिक स्कूटर अनुदान योजना 2024” और “दिव्यांग सहायता अनुदान योजना 2024” की शुरुआत भी की गई है, जिसमें श्रमिकों को इलेक्ट्रिक स्कूटर और दिव्यांगजन हेतु उपकरण खरीदने के लिए अनुदान प्रदान किया जाएगा। प्रदेश के 16 नगर निगमों में 100 बिस्तर वाले श्रमिक विश्राम गृहों का निर्माण किया जा रहा है, जिनकी कुल लागत 6.10 करोड़ रुपये होगी। यहां श्रमिकों के ठहरने और भोजन की व्यवस्था रियायती दरों पर होगी। 

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