Natural Disaster : बाढ़ पीड़ित किसानों को 22,500 रुपए प्रति हेक्टेयर का कृषि इनपुट अनुदान

पोस्ट -09 अक्टूबर 2024 शेयर पोस्ट

Natural Disaster : बाढ़ पीड़ित किसान पोर्टल पर करें आवेदन, 22,500 रुपए प्रति हेक्टेयर का मिलेगा अनुदान

कृषि इनपुट अनुदान योजना : देश में बीते कुछ साल की तस्वीर यह है कि प्राकृतिक आपदाएं किसानों का पीछा छोड़ने को तैयार नहीं हैं। कभी सूखा तो कभी भारी बारिश के कारण जल भराव या बाढ़ से किसानों की फसलों को काफी नुकसान हो रहा है, जिसकी भरपाई के लिए केंद्र एवं राज्य सरकारों द्वारा कई योजनाएं संचालित की जा रही है। इसमें पीड़ित किसानों को फसल क्षतिपूर्ति के लिए आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। इस कड़ी में बिहार सरकार ने राज्य में “कृषि इनपुट अनुदान योजना” लागू की है। इसके तहत राज्य में बाढ़ से प्रभावित पंचायतों के प्रभावित कृषक ऑनलाइन आवेदन कर कृषि इनपुट अनुदान का लाभ ले सकते हैं। इसके लिए कृषि विभाग द्वारा पोर्टल खोलकर ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है।

बाढ़ से खराब हुई फसल की क्षतिपूर्ति के लिए योजना (Scheme to compensate for crops damaged by floods)

कृषि विभाग की जानकारी के अनुसार, राज्य में वर्ष 2024-25 के खरीफ सीजन में सितंबर माह के प्रथम चरण में भारी बारिश से गंगा, कोशी तथा अन्य नदियों के जलस्तर में वृद्धि एवं पड़ोसी राज्यों तथा नेपाल में हुई अतिवृष्टि से उत्पन्न बाढ़ जैसी स्थिति के कारण किसानों की खरीफ फसलों को काफी अधिक नुकसान हुआ है। कृषि विभाग की ओर से बाढ़ प्रभावित जिलों में फसलों की क्षति का आकलन किया गया था, जिसका प्रस्ताव मुख्यालय भेजा गया था। इसके बाद प्रदेश सरकार ने फसल की क्षतिपूर्ति के लिए कृषि इनपुट अनुदान योजना शुरू की और रविवार को बाढ़ प्रभावित किसानों के लिए पोर्टल खोला गया, जिसपर कृषि इनपुट अनुदान के लिए आवेदन कर सकते हैं। 

इस दर से कृषि इनपुट अनुदान का होगा भुगतान (Agricultural input grant will be paid at this rate)

प्रदेश सरकार की ओर से बताया गया है कि कृषि इनपुट अनुदान योजना अत्यधिक बारिश व गंगा में आयी बाढ़ से खराब हुई फसल की क्षतिपूर्ति के लिए है। इसमें खरीफ मौसम की असिंचित, सिंचित एवं बहुवर्षीय फसलें शामिल है। इस योजना के तहत प्रभावित किसानों को वर्षाश्रित (असिंचित) फसल क्षेत्र के लिए 8,500 रुपये प्रति हेक्टेयर, सिंचित क्षेत्र के लिए 17, 000 रुपये प्रति हेक्टेयर, शाश्वत/बहुवर्षीय फसल के लिए 22,500 रुपए प्रति हेक्टेयर की दर से अनुदान का भुगतान होगा।

किसानों को अधिकतम कितना मिलेगा अनुदान? (How much maximum grant will farmers get?)

कृषि विभाग ने बताया कि, इस योजना के तहत प्रति किसान को अधिकतम दो हेक्टेयर के लिए ही अनुदान लाभ देय होगा। योजना के अंतर्गत प्रति किसान को असिंचित क्षेत्र के लिए अधिकतम 17,000 रुपए, सिंचित क्षेत्र के लिए अधिकतम 34,000 रुपये एवं बहुवर्षीय फसलों के लिए अधिकतम 45,000 रुपए का अनुदान मिलेगा। बाढ़ पीड़ित किसानों को अनुदान का लाभ देने का उद्देश्य अगली फसल लगाने के लिए पूंजी उपलब्ध कराना है। योजना का लाभ सभी पंजीकृत रैयत एवं गैर रैयत किसानों के लिए देय है। इसमें एक पंजीकरण से आवेदन (शाश्वत फसल/गन्ना, धान, खरीफ दलहन, खरीफ तेलहन, मक्का, सब्जी, केला) में हुए नुकसान की क्षतिपूर्ति का लाभ ले सकते हैं। 

अनुदान के लिए पोर्टल पर कर सकते हैं आवेदन (You can apply for grant on the portal)

बिहार सरकार कृषि विभाग के अनुसार, वर्ष 2024-25 के खरीफ सीजन के सितंबर माह में अतिवृष्टि से आई बाढ़ से राज्य में जिन किसानों की फसलों को नुकसान हुआ है, उन किसानों को प्रदेश सरकार की ओर से क्षतिपूर्ति के लिए कृषि इनपुट अनुदान योजना के तहत आवेदन का अवसर दिया गया है । प्रभावित किसान योजना का लाभ लेने के लिए कृषि विभाग की वेबसाइट https://dbtagriculture.bihar.gov.in/ पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। दिए गए लिंक https://dbtagriculture.bihar.gov.in/InputTest/  पर आवेदन करने के लिए किसानों के पास 13 अंकों की पंजीकरण संख्या का होना अनिवार्य है। डीबीटी इन एग्रीकल्चर बिहार सरकार पोर्टल पर बाढ़ प्रभावित प्रखंडों एवं पंचायतों की सूची उपलब्ध है। अधिक जानकारी के लिए किसान टोल फ्री नंबर 18001801551 पर या संबंधित जिला कृषि पदाधिकारी से संपर्क कर सकते हैं।

आवेदन के लिए आवश्यक जानकारी (Information required for application)

बिहार कृषि विभाग ने बताया है कि किसान परिवार के आवेदक को आवेदन के लिए ओटीपी उनके पंजीकृत मोबाइल पर भेजा जाएगा, जो आवेदन के लिए आवश्यक एवं गोपनीय है। आवेदन की प्रक्रिया 05 अक्टूबर से प्रारंभ की जा चुकी है। आवेदन सबमिट होने के पश्चात अगर आवेदन में कोई भी त्रुटि हो तो,  त्रुटि का बदलाव 48 घंटे के अंदर कर लें, अन्यथा आवेदन उसी रूप में 48 घंटे के बाद संबन्धित कृषि समन्वयक को वेरिफिकेशन के लिए अग्रसारित हो जायेगा और संबंधित त्रुटि में कोई भी बदलाव संभव नहीं होगा। एक बार सुधार अपडेट होने के पश्चात दुबारा सुधार संभव नहीं होगा | कृषक प्रकार "स्वयं भू-धारी " होने की स्थिति मे भूमि के दस्तावेज़ के लिए (अद्यतन या वर्ष 23-24 का एल.पी.सी/जमीन रसीद),"वास्तविक खेतिहर" के स्थिति में स्व-घोषणा प्रमाण पत्र तथा "वास्तविक खेतिहर + स्वयं भू-धारी" के स्थिति में भूमि के दस्तावेज़ के साथ-साथ स्व-घोषणा पत्र संलग्न करना अनिवार्य है।  कृषि विभाग के विभिन्न योजना में लाभ लेने के लिए आधार से लिंक बैंक खाता अनिवार्य है। योजना की राशि आधार से लिंक बैंक खाते में हीं अंतरित की जाएगी।  कृपया आवेदक आधार से लिंक बैंक खाता की प्रविष्टि करें। 

Website - TractorGuru.in
Instagram - https://bit.ly/3wcqzqM
FaceBook - https://bit.ly/3KUyG0y

`

Quick Links

Popular Tractor Brands

Most Searched Tractors