किसानों को बड़ी सौगात : केंद्र सरकार ने इन 14 खरीफ फसलों के लिए एमएसपी में की वृद्धि

पोस्ट -20 जून 2024 शेयर पोस्ट

खरीफ विपणन सत्र 2024-25 : केंद्र ने धान, बाजरा, मक्का सहित सभी खरीफ फसलों के समर्थन मूल्य में की बढ़ोतरी

Union Cabinet : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में लगातार तीसरी बार बनी सरकार ने किसान कल्याण के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाया है। इसी प्रतिबद्धता को जारी रखते हुए केंद्र की मोदी 3.0 सरकार ने किसानों को बड़ी सौगात दी है। बुधवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में आयोजित केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में विपणन सीजन 2024-25 के लिए धान, बाजरा, रागी, ज्वार, मक्का, अरहर (तुर) और समेत 14 खरीफ फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) को बढ़ाने के लिए मंजूरी दे दी है। किसानों को उनकी उपज के लिए लाभकारी मूल्य दिलाने के लिए सरकार ने विपणन सत्र 2024-25 के लिए सभी अनिवार्य खरीफ फसलों के एमएसपी में बढ़ोतरी की है।

पिछले वर्ष की तुलना में एमएसपी में सबसे अधिक वृद्धि तिलहन और दलहन फसलों पर की गई है, जिसमें नाइजरसीड (983 रुपए प्रति क्विंटल), तिल (632 रुपए प्रति क्विंटल) और तुअर/अरहर पर 550 रुपए प्रति क्विंटल की वृद्धि की गई है। विपणन सत्र 2024-25 के लिए धान के एमएसपी पर 117 रुपए की वृद्धि कर 2300 रुपए प्रति क्विंटल तय किया है, जबकि कपास के लिए एमएसपी में 501 रुपए की वृद्धि की गई है। इसके अतिरिक्त, पीएम मोदी की अध्यक्षता वाली केंद्रीय कैबिनेट ने “राष्ट्रीय फोरेंसिक अवसंरचना संवर्धन योजना (एनएफआईईएस)” के प्रस्ताव के साथ महाराष्ट्र के वधावन में सभी मौसमों के अनुकूल ग्रीनफील्ड डीप ड्राफ्ट प्रमुख बंदरगाह के विकास को मंजूरी दे दी है।

विपणन सत्र 2024-25 के लिए किस फसल पर कितनी हुई एमएसपी वृद्धि

विपणन सत्र 2024-25 के लिए धान का एमएसपी (MSP) 2300 रुपए प्रति क्विंटल तय किया गया है, जो एमएसपी में पिछले वर्ष की तुलना में 117 रुपए अधिक है। ज्वार के एमएसपी में 191 रुपए वृद्धि के साथ ज्वार का MSP 3371 रुपए प्रति क्विंटल घोषित किया गया है, जो पिछले साल 3180 रुपए प्रति क्विंटल था। इस विपणन सीजन 2024-25 में बाजरा का एमएसपी मूल्य 2625 रुपए प्रति क्विंटल होगा, जो पिछले वर्ष की तुलना में 125 रुपए अधिक है, जबकि मक्का का न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) 2225 रुपये प्रति क्विंटल होगा। पिछले वर्ष की तुलना में एमएसपी में 135 रुपए वृद्धि हुई है। विपणन सीजन 2024-25 के लिए तूर/अरहर के एमएसपी में 550 रुपए की वृद्धि की गई। पिछले वर्ष अरहर के लिए एमएसपी 7000 रुपए प्रति क्विंटल घोषित की गई थी। उड़द के लिए एमएसपी 7400 रुपए प्रति क्विंटल होगी, जो पिछले वर्ष की तुलना में इस साल 450 रुपए अधिक है। मूंग की एमएसपी में 124 रुपए की वृद्धि की गई। पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष मूंग के लिए MSP 8682 रुपए प्रति क्विंटल तय किया गया है। मूंगफली में 406 रुपए प्रति क्विंटल और  कपास में 501 रुपए प्रति क्विंटल की वृद्धि की गई है।

खरीफ फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) सूची 2024-25

फसल

एमएसपी
2024-25

लागत* केएमएस
2024-25

लागत पर मार्जिन
(%)

एमएसपी
2023-24

पिछले साल की तुलना में
2024-25 में एमएसपी में वृद्धि

अनाज

 

धान

सामान्य 2300 1533 50 2183 117
ग्रेड ए^ 2320 - - 2203 117

ज्वार

हाइब्रिड 3371 2247 50 3180 191
मालदंडी" 3421 - - 3225 196
बाजरे 2625 1485 77 2500 125
रागी 4290 2860 50 3846 444
मक्का 2225 1447 54 2090 135
दालें एमएसपी
2024-25
लागत* केएमएस
2024-25
लागत पर मार्जिन
(%)
एमएसपी
2023-24
पिछले साल की तुलना में
2024-25 में एमएसपी में वृद्धि
 
तूर/अरहर 7550 4761 59 7000 550  
मूंग 8682 5788 50 8558 124  
उड़द 7400 4883 52 6950 450  
तिलहन एमएसपी
2024-25
लागत* के एमएस
2024-25
लागत पर मार्जिन (%) एमएसपी
2023-24
2023-24 की तुलना में 2024-25 में एमएसपी में वृद्धि
मूंगफली 6783 4522 50 6377 406
सूरजमुखी के बीज 7280 4853 50 6760 520
सोयाबीन (पीला) 4892 3261 50 4600 292
तिल 9267 6178 50 8635 632
नाइजरसीड 8717 5811 50 7734 983
व्यावसायिक          

कपास

(मध्यम स्टेपल) 7121 4747 50 6620 501
(लॉन्ग स्टेपलर 7521 - - 7020 501

एमएसपी में वृद्धि केंद्रीय बजट 2018-19 की घोषणा के अनुरूप

केंद्रीय मंत्रिमंडल ने विपणन सीजन 2024-25 में खरीफ फसलों की एमएसपी (MSP) में वृद्धि केंद्रीय बजट 2018-19 की घोषणा के अनुरूप की है, जिसमें एमएसपी को अखिल भारतीय भारित औसत उत्पादन लागत के कम से कम 1.5 गुना के स्तर पर तय करने की बात कही गई है। किसानों को उनकी उत्पादन लागत पर अपेक्षित मार्जिन बाजरा (77 प्रतिशत) के मामले में सबसे अधिक होने का अनुमान है, उसके बाद तुअर/अरहर (59 प्रतिशत), मक्का (54 प्रतिशत) और उड़द (52 प्रतिशत) का स्थान है। शेष फसलों के लिए, किसानों को उनकी उत्पादन लागत पर मार्जिन 50 प्रतिशत होने का अनुमान है। लागत में उन सभी भुगतान की गई लागतें शामिल हैं, जो फसल उत्पादन के निवेश किया जाता है जैसे कि मानव श्रम का किराया, बैल श्रम/मशीन श्रम, पट्टे पर ली गई भूमि के लिए भुगतान किया गया किराया, बीज, उर्वरक, खाद जैसे सामग्री इनपुट के उपयोग पर किए गए व्यय, सिंचाई शुल्क, औजारों और कृषि भवनों पर मूल्यह्रास, कार्यशील पूंजी पर ब्याज, पंप सेटों के संचालन के लिए डीजल/बिजली खर्च सहित विविध व्यय और पारिवारिक श्रम का आरोपित मूल्य। धान (ग्रेड ए), ज्वार (मालदंडी) और कपास (लंबी स्टेपल) के लिए लागत डेटा अलग से संकलित नहीं किया गया है।

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