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Weather Today: देश में इस साल पड़ने वाली है प्रचंड गर्मी, आईएमडी ने जारी की रिपोर्ट

Weather Today:  देश में इस साल पड़ने वाली है प्रचंड गर्मी, आईएमडी ने जारी की रिपोर्ट
पोस्ट -02 मार्च 2024 शेयर पोस्ट

Weather Report : मार्च से मई के बीच देश के अधिकतर राज्यों में पड़ेगी प्रचंड गर्मी

Weather Update : पश्चिमी हिमालय क्षेत्र में बने पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से देश के कई राज्यों में मार्च महीने की शुरूआत बारिश और ओलावृष्टि के साथ हुई है, जिसके कारण किसानों की फसलों को काफी नुकसान हुआ है। पश्चिमी विक्षोभ के चलते पश्चिमी हिमालयी क्षेत्रों और उत्तर पश्चिम भारत के अधिकांश राज्यों में तेज हवाओं एवं गरज-चमक के साथ बारिश एवं ओलावृष्टि दर्ज की गई। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के अनुसार, पश्चिमी विक्षोभ के कारण पश्चिमी हिमालय क्षेत्र में मध्यम से भारी बारिश और बर्फबारी हुई। पंजाब, हरियाणा और उत्तरी राजस्थान के कुछ स्थानों पर ओलावृष्टि के साथ हल्की से मध्यम बारिश देखी गई। राजस्थान, गुजरात, मध्य प्रदेश और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कुछ अलग-अलग हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश और गरज के साथ बौछारें पड़ीं। उत्तर प्रदेश, विदर्भ और छत्तीसगढ़ के मध्य भागों में हल्की बारिश हुई और मध्य महाराष्ट्र में छिटपुट हल्की बारिश हुई। 

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मौसम विज्ञान विभाग ने कहा है कि इस वर्ष देश के अधिकतर राज्यों में तापमान सामान्य से अधिक रहेगा। मार्च से मई के बीच उत्तर-पश्चिम और उत्तर-पूर्व तथा मध्य भारत एवं प्रायद्वीप के कुछ हिस्सों को छोड़कर देश के अधिकांश क्षेत्रों में अधिकतम तापमान अधिक रहने का पूर्वानुमान है। वहीं, इस दौरान देश के अधिकांश हिस्सों में न्यूनतम तापमान भी सामान्य से अधिक रहेगा। मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) की माने तो देश में इस साल प्रचंड गर्मी पड़ने वाली है। आईएमडी ने चेतावनी जारी करते हुए लोगों को इससे सामना करने के लिए पहले से ही तैयार रहने को कहा है। 

हीटवेव वाले दिनों की संख्या में हो सकती है बढ़ोतरी  

भारत मौसम विज्ञान विभाग यानी आईएमडी ने इस साल देश के अधिकांश हिस्सों में प्रचंड गर्मी पड़ने का पूर्वानुमान दिया है। आईएमडी ने कहा है कि मार्च से मई के दौरान गुजरात, पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड, ओडिशा, छत्तीसगढ़, तेलंगाना, पश्चिम बंगाल, मध्य प्रदेश, राजस्थान में इस साल न्यूनतम तापमान भी सामान्य से अधिक रहने की संभावना है। इसको मद्देनजर रखते हुए मौसम विभाग ने इन राज्यों में प्रचंड गर्मी पड़ने की भविष्यवाणी की है। विभाग ने अलर्ट जारी करते हुए कहा कि इस बार इन क्षेत्रों में हीटवेव वाले दिनों की संख्या में वृद्धि भी हो सकती है। यानी इस बार इंसान से लेकर जानवरों तक को कई दिनों तक प्रचंड गर्मी और लू के थपेड़ो का सामना करना पड़ेगा। वहीं, मार्च से मई के दौरान आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और तमिलनाडु के कुछ स्थानों पर पसीना बहाने वाली भयंकर गर्मी पड़ने का पूर्वानुमान है। 

भारत के अधिकांश क्षेत्रों में सामान्य से अधिक बारिश होने का अनुमान 

मौसम विभाग का कहना है कि मार्च महीने के दौरान भारत के अधिकांश क्षेत्रों में सामान्य से अधिक बारिश होने का अनुमान है। वहीं, दक्षिण-पूर्वी क्षेत्र, पूर्वोत्तर और उत्तर-पश्चिमी हिस्सों में सामान्य से कम वर्षा होने की भविष्यवाणी की गई है। साथ इन क्षेत्रों में मौसम अधिक आर्द्र होने की उम्मीद है। पूर्वानुमान में कहा गया है कि महाराष्ट्र के कई क्षेत्रों और ओडिशा के कुछ इलाकों में लू के दिन बढ़ने का पूर्वानुमान है। इसके साथ ही मौसम विभाग का कहना है कि अगले 24 घंटों तक जम्मू कश्मीर, गिलगित-बाल्टिस्तान, मुजफ्फराबाद, लद्दाख, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में भारी से बहुत भारी बारिश और बर्फबारी जारी रहने की उम्मीद है और उसके बाद इसकी तीव्रता कम हो जाएगी।

इन हिस्सों में बारिश और ओलावृष्टि की संभावना

मौसम विभाग का कहना है कि अगले 24 घंटों के दौरान, उत्तरी और पूर्वी पंजाब, पूर्वी हरियाणा, दिल्ली और उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश और गरज के साथ छिटपुट ओलावृष्टि संभव है और 3 मार्च को इसकी तीव्रता कम हो जाएगी। 4 मार्च से मौसम साफ होना शुरू हो जाएगा। इसी तरह पूर्वी और दक्षिणपूर्व राजस्थान, पूर्वी गुजरात, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ के कुछ हिस्सों और बिहार के अलग-अलग हिस्सों में हल्की बारिश के साथ एक या दो मध्यम बारिश होने की संभावना है। वहीं, असम, अरुणाचल प्रदेश और पश्चिम बंगाल में अलग-अलग स्थानों पर हल्की बारिश का पूर्वानुमान लगाया है।

देशभर में बने मौसमी सिस्टम

स्काईमेट के अनुसार,पश्चिमी विक्षोभ को उत्तरी अफगानिस्तान और आसपास के क्षेत्रों पर एक चक्रवाती परिसंचरण के रूप में देखा जाता है। इस चक्रवाती परिसंचरण से उत्तर पश्चिमी अरब सागर तक एक ट्रफ रेखा फैली हुई है। प्रेरित चक्रवाती परिसंचरण को अब पश्चिमी राजस्थान और उससे सटे पाकिस्तान पर एक प्रेरित निम्न दबाव क्षेत्र के रूप में देखा जा रहा है। संबद्ध चक्रवाती परिसंचरण औसत समुद्र तल से 1.5 किमी ऊपर तक फैला हुआ है। उत्तर-पूर्वी बिहार के ऊपर एक चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र बना हुआ है। एक और चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र पूर्वोत्तर असम पर है। 5 मार्च की रात से एक ताजा पश्चिमी विक्षोभ पश्चिमी हिमालय क्षेत्र की ओर आ सकता है।

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