PM drone didi Scheme : केंद्र सरकार देश के अलग-अलग नागरिक वर्ग के लिए समय-समय पर अलग-अलग लाभकारी योजनाएं संचालित करती रहती है। इसमें आमजन से लेकर किसान और महिलाओं के लिए कई योजनाएं शामिल हैं। केंद्र सरकार की इन्हीं योजनाओं में “पीएम ड्रोन दीदी योजना “ (PM Drone Didi Yojana) भी शामिल है। इसे नमो ड्रोन दीदी या “लखपति ड्रोन दीदी“ योजना के नाम से भी जाना जाता है। इस योजना को कृषि क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी सुनिश्चित करने एवं उनके सर्वांगीण विकास के उद्देश्य से केंद्र सरकार द्वारा शुरू किया गया। नमो ड्रोन दीदी योजना में महिलाओं को ड्रोन उड़ाने का प्रशिक्षण एवं ड्रोन के इस्तेमाल से फसलों पर नैनौ यूरिया, डीएपी समेत दवा और कीटनाशकों का छिड़काव करने में सक्षम बनाया जाता है। आइए, जानते हैं कृषि के कार्य में किस तरह ड्रोन का इस्तेमाल किया जाता है और इसके लिए महिलाओं का चयन कैसे किया जाता है? योजना के तहत ड्रोन दीदी महिलाओं को किस तरह वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है और इसके लिए उन्हें कैसे और कहां आवेदन करना होता है?
पीएम ड्रोन दीदी योजना (PM Drone Didi Yojana) को 30 नवंबर 2024 को पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा लॉन्च किया गया। इस योजना के अंतर्गत देश के 15 हजार महिला स्वयं सहायता समूहों (Women's Self Help Groups) को ड्रोन उड़ाने एवं मरम्मत करने का प्रशिक्षण देकर ड्रोन दीदी बनाने का लक्ष्य तय किया गया। इस योजना का मकसद ग्रामीण क्षेत्रों की महिलाओं को रोजगार प्रदान कर उनकी आय में इजाफा करना और उन्हें कृषि-तकनीक क्षेत्र में सशक्त बनाना है। इस योजना में महिलाओं को 15 दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम में ड्रोन उड़ाने और फसलों पर कीटनाशकों का छिड़काव करने का प्रशिक्षण दिया जाता है। इससे एसएचजी से जुड़े महिला कार्यकर्ताओं की आमदनी में बढ़ेगी। इसके अतिरिक्त, योजना से महिला एसएचजी को सशक्त बनाने और खेती में ड्रोन सेवाओं के इस्तेमाल बढ़ाने में सहायता मिलेगी।
केंद्र सरकार द्वारा पीएम ड्रोन दीदी योजना के अंतर्गत अगले 2 वित्तवर्ष 2024-25 और 2025-26 की अवधि के दौरान कुल 1261 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे। इसके तहत देश के अलग-अलग राज्यों में प्रगतिशील एसएचजी (SHG) समूहों को 15 हजार कृषि ड्रोन अनुदान पर उपलब्ध कराए जाएंगे। यह योजना महिलाओं को आत्मनिर्भर करने और कृषि कार्यों में ड्रोन के प्रभावी ढंग से उपयोग करने में सक्षम बनाएगी। इस योजना के अंतर्गत स्वयं सहायता समूहों (एसएचजी) से जुड़ी योग्य महिला लाभार्थियों को ड्रोन (Drone) संचालन के लिए 15 हजार रुपए मासिक मानदेय भी मिलेगा। इसके अलावा, को-पायलट महिला को 10 हजार रुपए प्रति माह दिए जाएंगे। वहीं, ड्रोन की मरम्मत का प्रशिक्षण लेने वाली महिलाओं को हर महीने 5 हजार रुपए राशि मासिक वित्तीय सहायता के रूप में प्रदान की जाएगी। इसके अतिरिक्ति, स्वयं सहायता समूहों के अन्य महिला सदस्य / परिवार के सदस्य, जो बिजली के सामान, फिटिंग और यांत्रिक कार्यों की मरम्मत करने के इच्छुक हों, उन्हें राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन (एसआरएलएम) और एलएफसी के माध्यम से प्रशिक्षण मिलेगा। यह योजना कृषि क्षेत्र में महिला सशक्तिकरण और तकनीकी उन्नति की दिशा में एक अहम कदम साबित होगा, जो कृषि क्षेत्र की वृद्धि और विकास को सुनिश्चित करने में किसानों की मदद करेगी।
पीएम ड्रोन दीदी योजना के तहत 15 हजार ऐसे स्वयं सहायता समूहों की पहचान की गई, जिनके कार्य क्षेत्र में तकनीकी रूप से ड्रोन का इस्तेमाल संभव है। ऐसे सभी क्षेत्रों में स्वयं सहायता समूहों को सरकार द्वारा कृषि ड्रोन उपलब्ध कराया जाएगा, जिसके लिए क्लस्टर लेवल फेडरेशन (CLF) का गठन किया गया है। इसके तहत विभिन्न राज्यों में एक हजार हेक्टेयर कृषि भूमि की पहचान कर सभी इलाकों की महिला स्वयं सहायता समूहों (एसएचजी) को ड्रोन का वितरण किया जाएगा। साथ ही महिलाओं को 15 दिनों की ड्रोन पायलट ट्रेनिंग और 15 हजार रुपए का मासिक अनुदान दिया जाएगा, जो लाभार्थियों को आधार लिंक बैंक खाते में डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर के माध्यम से हस्तांतरित किया जाता है। इस योजना के तहत सहायता समूहों को ड्रोन खरीदने के लिए कृषि ड्रोन व सहायक उपकरण / सहायक शुल्क लागत का 80 प्रतिशत या अधिकतम 8 लाख रुपए तक की धनराशि केंद्र सरकार की और से मिलेंगे। उल्लेखनीय है कि बाजार में एक कृषि ड्रोन की कीमत लगभग 10 लाख रुपए तक होती है। इसके अलावा, ड्रोन की शेष राशि पर स्वयं सहायता समूहों को सीएलएफ नेशनल एग्रीकल्चर इंफ्रा फाइनेंसिंग फैसिलिटी से ऋण की सुविधा प्रदान करेगा, जिस पर केंद्र सरकार की ओर से 3 प्रतिशत की दर से वार्षिक ब्याज अनुदान भी मिलेगा।
केंद्र सरकार द्वारा लखपति ड्रोन दीदी (पीएम ड्रोन दीदी) योजना संचालित की जा रही है। इस केंद्रीय योजना का संचालन खासकर सेल्फ हेल्फ ग्रुप (स्वयं सहायता समूहों) से जुड़ी महिलाओं के लिए किया जा रहा है। इस योजना के तहत स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए और उन्हें रोजगार के अधिक अवसर देने के लिए ड्रोन की मरम्मत, ड्रोन उड़ाने की पायलट ट्रेनिंग और ड्रोन खरीदने के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। इस योजना में केवल स्वयं सहायता समूह की सक्रिय महिला सदस्य को लाभ दिया जाता है। इस योजना में केवल भारतीय महिलाएं ही लाभ के आवेदन हेतु पात्र होंगी। ड्रोन दीदी योजना के तहत स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी महिला सदस्य का कम-कम से 10वीं कक्षा पास होना अनिवार्य है। ड्रोन उड़ाने के प्रशिक्षण के लिए महिला सदस्य की न्यूनतम आयु 18 वर्ष या इससे अधिक होनी चाहिए। इस योजना के अंतर्गत चयनित महिलाओं को 5 दिनों का ड्रोन उड़ाने का और 10 दिनों का खेतों में पोषक तत्वों और कीटनाशकों के छिड़काव का प्रशिक्षण दिया जाएगा। चयनित महिलाओं को ड्रोन उड़ाने का पायलट प्रशिक्षण अनिवार्य रूप से लेना है।
केंद्र सरकार की नमो ड्रोन दीदी योजना के अंतर्गत ड्रोन प्रशिक्षण और 8 लाख रुपए की केंद्रीय वित्तीय सहायता के लिए उम्मीदवार को ऑनलाइन पंजीयन कराना होता है। इसके लिए आवेदित महिलाओं को कुछ आवश्यक दस्तावेजों की जरूरत पड़ेगी, जो इस प्रकार है:-
आवेदक महिला का आधार कार्ड
मूल निवास प्रमाण पत्र
पैन कार्ड
ईमेल आईडी
मोबाइल नंबर
स्वयं सहायता ग्रुप का सक्रिय आईडी कार्ड
पासपोर्ट साइज फोटो
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