सेज प्लांट जिसे तेजपत्ता भी कहा जाता हैं। सेज प्लांट एक बारहमासी पौधा है, इसमें विभिन्न रंगों के फूल खिलते हैं। इस पौधे को ऋषि पौधा भी कहा जाता है। सेज प्लांट की पत्तियों का इस्तेमाल सब्जियों में मसाले के तौर स्वाद बढ़ाने के लिए किया जाता है। साथ ही इसका उपयोग जड़ी बूटियों में भी किया जाता हैं। किसान भाई सेज प्लांट की खेती करके अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं। सेज प्लांट की खेती करने के लिए इसकी ज्यादा देखभाल करने की आवश्यकता नहीं होती हैं, लेकिन शुरुआत में इसके पौधे की देखभाल अच्छी तरह से करना जरुरी होता हैं। सेज प्लांट की खेती करने के लिए खेत की मिट्टी का उपजाऊ होना बहुत ही आवश्यक होता है। किसान भाईयों आज ट्रैक्टर गुरु की इस पोस्ट के माध्यम से सेज प्लांट (तेज पत्ता) की खेती से जुड़ी सभी जानकारियां आपके साथ साझा करेंगे।
सेज प्लांट एक औषधीय पौधा है, इसके पौधे की पत्तियों में कई ऐसे गुण पाए जाते है जो की हमारे शरीर के लिए बहुत लाभदायक होते है। सेज प्लांट के कुछ गुण निम्नलिखित हैं-
विश्व व भारत में कई तरह के सेज प्लांट होते हैं, इनमें से कुछ सेज प्लांट खाने योग्य नहीं होते हैं। ऐसे में सेज प्लांट की खेती करते वक्त इसके सही पौधों का चयन जरूरी है। सेज प्लांट की विभिन्न किस्मों में गार्डन सेज, पर्पल सेज, ट्राई कलर सेज, गोल्डन सेज आदि शामिल हैं। स्थान व जलवायु के आधार पर सेज प्लांट के पत्तों का स्वाद बदल जाता है। उदाहरण के लिए क्लेरी सेज की पत्तियां बहुत बड़ी होती हैं, इनकी पत्तियों का उपयोग वाइन को स्वादिष्ट बनाने में होता है। बैंगनी सेज प्लांट में चमकीले नीले रंग के फूल होते हैं, इसका उपयोग खाने में मसाले के रुप में होता है। तिरंगा सेज प्लांट का एक सजावटी किस्म का पौधा है, जिसका स्वाद काफी हल्का होता है, ऐसे में इसका उपयोग खाने के रुप में कम और सजावट में ज्यादा होता है। ग्रेप सेंटेड सेज प्लांट के पौधे बहुत बड़े होते हैं। ऐसे में अगर आप इसकी खेती करना चाहते है तो आप जलवायु व उपयोग के आधार पर सेज प्लांट के पौधे का चयन कर सकते हैं।
सेज प्लांट की खेती करते समय हमें कुछ बातों का ध्यान रखना अति आवश्यक होता हैं। वो बाते निम्नलिखित हैं-
सेज प्लांट या किसी भी अन्य फसलों की खेती करने से पहले भूमि का चयन करना बहुत ही आवश्यक होता है। वैसे तो सेज प्लांट की खेती किसी भी तरह के खेत में की जा सकती है। लेकिन खेत की मिट्टी का उपजाऊ होना बहुत ही जरुरी है। अगर आपके खेत की मिटटी उपजाऊ नहीं है, तो आप इसके लिए किसी कृषि सलाहकार से मदद ले सकते है। इसके अलावा आप अपने खेत में सड़ी हुई गोबर की खाद डालकर खेत की कई बार जुताई करके मिट्टी को उपजाऊ बना सकते हैं। उपजाऊ मिटटी में सेज प्लांट की खेती करने से अच्छा उत्पादन व लाभ कमाया जा सकता हैं।
सेज प्लांट का पौधा किसी भी प्रकार की जलवायु में उगाया जा सकता है। इसके पौधे का विकास माध्यम तापमान में सही ढंग से होता है।
सेज प्लांट के पौधों को पहले नर्सरी में जुलाई से अगस्त के महीनों में तैयार करना होता है। इसके बाद इन पौधों को खेत में रोपाई करने का सबसे अच्छा समय अगस्त से अक्तूबर महीने के बीच का माना जाता है। इस दौरान यह पौधे बहुत अच्छी बढ़वार प्राप्त करते हैं।
सेज प्लांट का पौधा लगाने के लिए आपको खेत में लगभग पांच से आठ इंच गहरा गड्ढा करना चाहिए। इसके बाद पौधे को गड्ढा में लगा दें। और ऊपर से पौधे की जड़ में मिट्टी डाल दें। इसी तरह से आप प्रत्येक पौधे के बीच में आधा मीटर की दूरी रखकर पौधा लगा सकते हैं।
सेज प्लांट की खेती को ज्यादा पानी की आवश्यकता नहीं होती। सेज प्लांट के पौधे लगाने के बाद पूरे खेत में पानी भर देना चाहिए। इसके बाद जब भी खेत की मिट्टी सूखने लगे, तो इसमें पानी से भर देना चाहिए। पौधे के अच्छे विकास के लिए खेत में हल्की नमी हमेशा बनाये रखनी चाहिए।
सेज प्लांट की खेती में एक बार पौधा लगाने के बाद एक साल में 3 बार तक पत्तियों की कटाई कर सकते हैं। इसका इस्तेमाल सूखी पत्तियों के साथ-साथ तेल निकालने में भी किया जाता हैं। 1 एकड़ में इसकी खेती करने से 7000 किलो तक की पैदावार आसानी से प्राप्त की जा सकती हैं। जिससे आसानी से 5 से 7 लाख रुपये तक की कमाई आसानी से कर सकते हैं।
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