PM Kusum Yojana Online Registration 2025 : देश में किसानों को अनुदान पर कृषि सोलर पंप दिए जा रहे हैं, ताकि किसान फसलों की सिंचाई लागत कम कर उत्पादन बढ़ा सके। साथ ही किसानों को सालभर खेती करने के लिए बेहतर सिंचाई की सुविधा उपलब्ध हो। इसी उद्देश्य से भारत सरकार देशभर में प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा एवं उत्थान महाभियान पीएम कुसुम योजना (PM Kusum Solar Subsidy Yojana) चला रही है। इस योजना के विभिन्न घटकों के तहत राज्य सरकारें पीएम-कुसुम कम्पोनेन्ट-बी स्टैंड अलोन सौर ऊर्जा पंप संयंत्र परियोजना लागू कर किसानों को विभिन्न एचपी क्षमता के सौर पंप की स्थापना पर अनुदान उपलब्ध करा रही है। इस कड़ी में पीएम-कुसुम योजना (PM Kusum Solar Subsidy Yojana) के कंपोनेंट “बी” के तहत राजस्थान सरकार उद्यानिकी विभाग द्वारा किसानों को 3, 5 एवं 7.5 एचपी के सोलर पंप (Solar Pump) पर अनुदान दिया जा रहा है। साथ ही 30 प्रतिशत ऋण भी बैंक से उपलब्ध कराया जा रहा है, ताकि किसान पर वित्तीय भार नहीं पड़े। इसके लिए इच्छुक किसान फरवरी महीने के अंत तक ऑनलाइन आवेदन प्रस्तुत कर सकते हैं। अगर आप सरकार की इस योजना में लाभ उठाना चाहते हैं, तो इस पोस्ट को अंत तक जरूर पढ़ें। इसमें सभी संबंधित जानकारी दी जा रही है।
कम्पोनेंट ‘बी’ के तहत किसानों को हाईटेक सिंचाई के लिए खेतों में सोलर ऊर्जा पंप पर अनुदान दिया जा रहा है। यह अनुदान लाभार्थी कृषक के बैंक खातों में राज्य उद्यानिकी विभाग द्वारा हस्तांतरित किया जाएगा। पीएम-कुसुम योजना (PM Kusum Yojana) के कंपोनेंट “बी” परियोजना का उद्देश्य जिन किसानों के पास सिंचाई के लिए कृषि विद्युत कनेक्शन (krishi vidyut connection) नही हैं एवं सिंचाई हेतु डीजल चलित संयंत्र अथवा अन्य वैकल्पिक साधन पर निर्भर हैं, उन्हें प्राथमिकता से सिंचाई के लिए सौर ऊर्जा पंप संयंत्र अनुदान (Solar Power Pump Plant) पर उपलब्ध किया जाना है। सिंचाई के लिए डीजल आधारित सिंचाई संयंत्रों के उपायों को समाप्त कर डीजल पर देय अनुदान की बचत एवं राज्य को कार्बन क्रेडिट उपलब्ध कराना इस योजना का लक्ष्य है।
कृषि अधिकारी (उद्यान) मुकेश गहलोत ने बताया कि, पीएम कुसुम कम्पोनेंट ‘बी’ स्टैंड अलोन सौर ऊर्जा पंप संयंत्र परियोजना के तहत किसानों को सौर ऊर्जा पंप की स्थापना की इकाई लागत पर 60 प्रतिशत का अनुदान देय है। इसमें 30 प्रतिशत राज्य सरकार व 30 प्रतिशत राशि केंद्र सरकार द्वारा वहन की जाती है। शेष 40 प्रतिशत राशि किसानों द्वारा स्वयं वहन की जाएगी, जिसमें वे 30 प्रतिशत तक बैंक ऋण प्राप्त कर सकते हैं। इस योजना के तहत अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के कृषकों को राज्य मद से 45,000 रुपए प्रति कृषक प्रति संयंत्र अतिरिक्त अनुदान देने का प्रावधान किया गया है।
उन्होंने बताया कि, पीएम कुसुम कंपोनेंट ‘बी’ योजना के तहत कृषक अपने खेतों में 3, 5 , 7.5 व 10 एचपी क्षमता तक के सौर ऊर्जा पंप संयंत्र (Solar Power Pump) स्थापित करा सकते हैं। हालांकि, अनुदान 7.5 एचपी क्षमता तक के सोलर पंप हेतु ही देय होगा। क्योंकि नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा इस योजना में 7.5 एचपी क्षमता तक के सौर ऊर्जा संयंत्रों के लिए ही अनुदान देने का प्रावधान किया गया है। अगर कृषकों द्वारा 10 एचपी क्षमता का सोलर पंप स्थापित कराया जाता है, तो इकाई लागत पर समस्त अंतर राशि का वहन किसान को स्वयं ही करना होगा।
राजस्थान उद्यान विभाग द्वारा इस वित्त वर्ष में पीएम-कुसुम योजना कंपोनेंट “B” के तहत शेष लक्ष्यों को पूरा करने के लिए कृषकों से ऑनलाइन आवेदन मांगे गए हैं। योजना के तहत सोलर पंप की स्थापना के लिए अनुदान प्राप्त करने के इच्छुक किसान फरवरी अंत तक ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। इसके लिए किसानों को राज किसान साथी पोर्टल या ई मित्र केंद्र से आवश्यक दस्तावेजों के साथ ऑनलाइन आवेदन करना होगा। आवेदन के साथ कृषक का जन आधार कार्ड, भूमि की जमाबंदी या पासबुक की प्रतिलिपि (भू-स्वामित्व), सिंचाई जल स्त्रोत ऑनलाइन स्व-घोषित, विद्युत कनेक्शन न होने का शपथ ऑनलाइन स्व-घोषित इत्यादि ऑनलाइन प्रस्तुत किया जाना अनिवार्य है।
संबंधित फर्म द्वारा सौर ऊर्जा पंप किसान के खेत में स्थापित किए जाने का सत्यापन कमेटी द्वारा किया जाएगा। इसके बाद पंप संयंत्र की 60 प्रतिशत अनुदान राशि का भुगतान देय होगा। किसानों से प्राप्त आवेदनों की ऑनलाइन छंटनी जिला कार्यालयों के माध्यम से की जाएगी और तकनीकी सर्वे के लिए आवेदन संबंधित फर्म को भेजा जाएगा। फर्म द्वारा कृषि के जलस्त्रोत का तकनीकी सर्वे कर रिपोर्ट एवं सौर पंप संयंत्र का कोटेशन पोर्टल पर अंकित कर उद्यान विभाग के जिला कार्यालय को ऑनलाइन प्रस्तुत किया जाएगा।
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