जीरे की खेती से लाखों कमाने का मौका, जानें कैसे करें खेती
जीरे का उत्पादन
देश का कुल 80 प्रतिशत जीरा राजस्थान और गुजरात से उत्पादित किया जाता है, जिसमें 28 प्रतिशत जीरे का उत्पादन अकेले राजस्थान में होता है।
जीरे का पौधे का वैज्ञानिक नाम
जीरा का वानस्पतिक नामः क्यूमिनम सायमिनम है। यह एँपियेशी परिवार का एक पुष्पीय पौधा है।
उपयुक्त जलवायु एवं मिट्टी
शुष्क एवं साधारण ठंडी जलवायु, 20 से 30 डिग्री तापमान एवं उचित जल निकासी वाली बलुई दोमट मिट्टी जिसका पी.एच.मान सामान्य हो इसकी खेती के लिए उपयुक्त है।
उन्नत किस्में
आर जेड-19, आरजेड-209, जीसी-4, आरजेड-223 इत्यादि जीरे की कई उन्नत किस्मों को तैयार किया गया है।
जीरे की बुवाई का समय
जीरे की बुवाई 15 से 30 नवंबर के बीच समय बुवाई के उपयुक्त है। एक हेक्टेयर खेत में 12 से 15 किलोंग्राम की दर से बीजों की आवश्यकता होती हैं।
खाद एवं उर्वरक का प्रयोग
अच्छी उपज के लिए 5 से 10 टन कम्पोस्ट खाद, 65 किलोग्राम डी.ए.पी, 9 किलोंग्राम यूरिया प्रति हेक्टेयर की दर से देना उचित हैं।