मेथी की खेती : बुवाई से लेकर पैदावार तक की जानकारी
Posted - Oct 21, 2024
औषधीय उपयोग के कारण मेथी की मांग लगातार बढ़ रही है। इसके पत्ते व दानों को बेचकर दो तरह से कमाई की जा सकती है।
मेथी की उन्नत खेती के लिए मैदानी इलाकों में इसकी बुवाई सितंबर से मार्च तक की जाती है। पहाड़ी इलाकों में बुवाई का उचित समय जुलाई से अगस्त तक है।
मेथी की खेती सभी प्रकार की मिट्टी में की जा सकती है। बेहतर पैदावार के लिए अच्छे जल निकास वाली चिकनी मिट्टी अच्छी रहती है। वहीं, इसकी खेती के लिए ठंडी जलवायु काफी अच्छी रहती है।
अधिकांश किसान इसकी बुवाई छिड़कवा विधि से करते हैं। लेकिन इसकी कतार में बुवाई करना ज्यादा अच्छा रहता है। कतार में बुवाई करने से निराई-गुड़ाई करने में आसानी रहती है।
मेथी की पहली कटाई बुवाई के 30 दिन बाद करनी चाहिए। इसके बाद 15 दिन के अंतराल पर कटाई करते रहना चाहिए। इस प्रकार 4 से 5 बार कटाई करें। बाद में फसल को बीज के लिए छोड़ दें।
मेथी की अधिक उत्पादन देने वाली किस्मों में पूसा कसूरी, आरएमटी 305, राजेंद्र क्रांति, ए.एफ.जी 2, हिसार सोनाली आदि शामिल है।